आज बहुत वरषो के पश्चात् हीन्दी लीखने का प्रयास् कर रहा हु। यह Website पर लीखना कठीन है, तथा मेरा हीन्दी भी कुछ अछी नही है।
पर मै इतना अवश्य कहे सकत हुन की मेरी हीन्दी बोल्ने की क्शमता बहुत वीकसीत हुइ है।
मेरा यह लक्श्य है की मै हीन्दी मे Blog लीख सकु।
अर्थात्, अछी हीन्दी लीखने के लीये मुझे अछे की आवश्यकता होगी।
देखते है की मेर सपना कीतना साकार होगा।
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